कभी 50 रुपए के लिए भी करना पड़ा था संघर्ष, अब बने असिस्टेंट कमिश्नर
TISMedia@. ‘अब सिर्फ राजा का बेटा ही राजा नहीं बनेगा’ इस वाक्य को सुनकर आप के भी मन में एक ही तस्वीर उभरती होगी। ‘सुपर-30’ के फाउंडर बिहार के 48 वर्षिय मैथमेटिशियन आनंद कुमार, जिनकी कहानी पर साल 2019 में ‘सुपर 30’ नाम से फिल्म भी बन चुकी है। आनंद कुमार के संघर्ष के बारे में आप जानते ही होगे। उनके कई छात्र ऊंचे ओहदे पर काम कर रहे हैं। हाल ही में जब ऐसा ही उनका एक छात्र उनसे मिलने आया तो उन्होंने अपने उस स्टूडेंट की कहानी एक तस्वीर के साथ अपने सोशल मीडिया के जरिए दुनिया से सांझा की। जिसमें उन्होंने बताया कि उनका ये छात्र कभी 50 रुपए के लिए संघर्ष करता था लेकिन आज वह असिस्टेंट कमिश्नर है।
*मेरे सीने में नहीं तो तेरे सीने में सही,
हो कहीं भी आग, लेकिन आग जलनी चाहिए।— Anand Kumar (@teacheranand) June 21, 2021
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‘आग जलनी चाहिए’
21 जून को आनंद कुमार ने अपने ट्वीटर के जरिए ये तस्वीर शेयर की। जिसके कैप्शन में उन्होंने लिखा, ‘कभी 50 रूपये के लिए संघर्ष करने वाला मेरा शिष्य कृष्ण राय यूपीएससी क्वालीफाई करके असिस्टेंट कमिश्नर बनकर आज मुझसे मिलने आया तब शिक्षक होने पर गर्व होने लगा। दबे-कुचले लोगों के प्रति उसकी संवेदनशीलता को देखकर मुझे लगा
मेरे सीने में नहीं तो तेरे सीने में सही, हो कहीं भी आग, लेकिन आग जलनी चाहिए।’
देखते ही देखते उनका ये ट्वीट सोशल मीडिया पर वायरल हो गया। उनके इस ट्वीट पर लोगों ने खुब लाइक, कमेंट और रिट्वीट कर के अपना प्यार जताया और उनके काम की सराहना भी की। आनंद कुमार के इस ट्वीट पर 33 हजार से ज्यादा लाइक और 4100 से ज्यादा रिट्वीट मिले है। लोग जमकर आनंद कुमार के काम की तारीफ कर रहे है और अपनी प्रतिक्रिया दे रहे हैं।