50 नर्सों ने सरकारी अस्पताल के अधीक्षक पर लगाया यौन उत्पीड़न का आरोप, मचा हड़कंप 

  • मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में हुई सनसनीखेज वारदात, सरकार ने दिए जांच के आदेश 
  • मानवाधिकार आयोग ने भी आयुक्त चिकित्सा शिक्षा को दिया नोटिस, 10 दिन में मांगा जवाब 

TISMedia@Bhopal  मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल स्थित सरकारी हॉस्पीटल हमीदिया अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक पर करीब 50 नर्सों ने यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया है। शिकायत सामने आते ही पूरे सूबे में हड़कंप मच गया। मामले के तूल पकड़ने के बाद राज्य सरकार ने जांच के आदेश दिए हैं। मध्य प्रदेश मानवाधिकार आयोग (MPHRC) ने भी राज्य के चिकित्सा शिक्षा विभाग के आयुक्त को नोटिस जारी करके इस मामले में दस दिनों के अंदर जवाब मांगा है।

मध्य प्रदेश के चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास सारंग ने घटना की पुष्टि करते हुए बताया कि हमीदिया अस्पताल के अधीक्षक डॉक्टर दीपक मरावी के खिलाफ शिकायत मिली है। उन्होंने कहा कि शिकायत की गंभीरता को देखते हुए संभागीय आयुक्त गुलशन बामरा को मामले की जांच के आदेश दिए गए हैं। अस्पताल के सूत्रों ने कहा कि कम से कम 50 महिला नर्स ने डॉ. मरावी पर विशेषकर रात की ड्यूटी के दौरान यौन उत्पीड़न और अश्लील हरकत करने का आरोप लगाया है। यौन उत्पीड़न के आरोपों पर डॉ. मरावी का पक्ष जानने की कोशिश की गई, लेकिन पहले तो वह बात करने को तैयार नहीं हुए और फिर वरिष्ठ अधिकारियों के साथ एक बैठक में व्यस्त होने की बात कह टाल दिया।

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कांग्रेस ने खोला मोर्चा 
राजधानी के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल में सनसनीखेज वारदात का खुलासा होने के बाद सूबे की सियासत भी गर्मा गई है। मध्य प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने कहा कि भोपाल के प्रतिष्ठित हमीदिया अस्पताल की 50 महिला नर्सों के साथ अश्लील व्यवहार किये जाने की घटना सामने आयी है। राज्य सरकार को नर्सों की शिकायतों पर सख्त कार्रवाई करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि कार्यस्थल पर महिला सुरक्षा से जुड़ा यह अत्यंत गंभीर मामला है। भोपाल में हाल की घटना का हवाला देते हुए जिसमें छेड़छाड़ करने वालों के खिलाफ खड़े होने के लिए एक महिला का चेहरा बदमाशों ने ब्लेड से काट दिया था, राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कहा कि महिला और नाबालिग बालिकाओं से अत्याचार के मामले में मध्य प्रदेश पहले ही देश में सालों से सबसे आगे है, छोटी-छोटी बच्चियां तक सुरक्षित नहीं हैं। क्या यही सुशासन है? यही अच्छी कानून व्यवस्था है?

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