#Valentine_Special सुंदर कन्या! हां ना बोल भाई…
Kota Coaching के "चैम्पियन ऑफ़ फिजिक्स" की सदाबहार खुशी का राज
जब भी आईआईटी का जिक्र होता है तो दो नाम ध्यान में आते हैं… पहला कोटा और दूसरा एनवी सर यानि नितिन विजय… एक ऐसा शख्स जिसकी टीचिंग स्टाइल पर कोटा फैक्ट्री जैसी वेब सीरिज तक बन चुकी है। जब भी आप गूगल करेंगे… एक खिलखिलाता हुआ चेहरा आपकी स्क्रीन पर तैर जाता है… लेकिन, कम ही लोग होंगे जिन्हें चैम्पियन ऑफ़ फिजिक्स की इस सदाबहार खुशी का राज पता होगा…!
द इनसाइड स्टोरी #Valentine_Special सीरिज में सिल्वर स्क्रीन के मौजी किरदार जीतू भैया यानि कोटा के मशहूर कोचिंग संस्थान मोशन प्रबंध निदेशक नितिन विजय सर की खुशी के असल खजाने तक आपको लेकर जा रहा है। नाम है… स्वाति विजय… माफ कीजिएगा डॉ. स्वाति विजय…!!! एग्जक्यूटिव डायरेक्टर मोशन, बचपन की दोस्त, हमसफर और हमनवां..!!!
कई लोग ऐसे हैं जिनकी कहानी दुनिया तक नहीं पहुँच पाती, लेकिन वो कई कहानियों को प्रेरित करते हैं… उन्ही लोगों में से एक हैं स्वाति विजय…! एनवी सर बताते हैं “हमारी मुलाकात बचपन में ही चुकी थी… सेकंड क्लास से साथ ही पढ़े, लेकिन 12वीं के बाद वह डॉक्टर बनने बैंगलूरू चली गईं और मैं इंजीनियरिंग करने आईआईटी बीएचयू…!!!” फोन-वोन पर बातें होती थीं… लेकिन, फोर्थ ईयर में जाकर लगा कि कुछ तो खास है जो हमें अभी तक जोड़े हुए है…!!!
मोशन के क्लासरूम से लेकर वीडियो लेक्चर तक आपने एनवी सर को “सुंदर कन्या”… “हां ना बोल भाई” कहते अक्सर सुना ही होगा, लेकिन स्वाति विजय से सालों की मुलाकात के बाद भी ऐसा कुछ नहीं बोल पाए…। वह बताते हैं “हमारे बीच प्यार और इजहार जैसा कुछ भी नहीं था। हम बहुत अच्छे दोस्त थे। इतने अच्छे कि तकरीबन हर चीज साझा किया करते थे। यहां तक कि सफलताएं भी। यही वजह रही कि स्वाति गोल्ड गोल्ड मेडलिस्ट हैं। यह बात मुझे खासी प्रेरित करती है।“
खासी जुनूनी है जोड़ी
“साल…2007, हम दोनों पढ़ाई पूरी कर कोटा वापस लौट चुके थे। मोशन की नींव इसी साल पड़ी और इसी साल हम दोनों ने जिंदगी भर साथ निभाने का फैसला भी किया। घर वालों को बताया और फिर साल 2008 में शादी हो गई।“ नितिन विजय बताते हैं “हम दोनों के बीच ही अटूट रिश्ता नहीं बना, बल्कि हमारे सपने भी एक हो गए। मोशन को आगे बढ़ाने के लिए स्वाति ने डॉक्टरी तक छोड़ दी। आलम यह है कि हम दोनों रोजाना 15-16 घंटे साथ काम करते हैं।” इतना कहने के बाद एनवी सर ने जोरदार ठहाका लगाया और फिर जाहिर किया अपनी लाइफ का एक बड़ा सीक्रेट “वर्कहॉलिक होने का इससे बड़ा उदाहरण क्या होगा कि शादी के लिए भी मैने सिर्फ दो दिन की छुट्टी ली थी। जिसमें से एक दिन तो रविवार ही था।“
परिवार की मजबूती मजबूत साझेदारी
#Valentine_Special सीरिज में द इनसाइड स्टोरी को एनवी सर ने अपनी लाइफ पार्टनर के साथ मजबूत साझेदारी का एक और राज बताया। “रिश्तों की मजबूती आपके फैसलों पर निर्भर करती है और जब पूरे परिवार का फैसला ही साझा हो तो सोने पर सुहागा। अभिभावक बड़ी उम्मीदों के साथ बच्चों को कोटा भेजते हैं। ऐसे में उन पर खरा उतरना हमारी नैतिक जिम्मेदारी बन जाता है। इसके लिए हम घंटों उनके साथ जुटे रहते हैं। मसरूफियत के इस आलम में आपके लिए जरूरी हो जाता है कि एक दूसरे को वक्त दें। पूरा परिवार साथ काम करता है इसीलिए हम फैसले भी साझा करते हैं और इसके लिए हमने तय कर रखा है कि कोई कितना भी या कहीं भी बिजी हो, दिन में कम से कम एक घंटे सभी साथ बैठें।“ इससे न सिर्फ परिवार की जड़ें मजबूत होती हैं, बल्कि रिश्तों का रंग और भी चटख हो जाता है।
खूबियों का खजाना
स्वाति कहती हैं “मुझे एनवी सर की साफगोई, सभी को साथ लेकर चलने की आदत और सकारात्मक सोच ही नहीं जो कह दिया उसे पूरा करना ही है की आदत खासी प्रभावित करती है।“ यह वो चीजें हैं जो एक साधारण इंसान में होना मुश्किल हैं और जब आपके सपने एक हो जाते हैं तो फिर कहने सोचने के लिए कुछ भी बाकी नहीं बचता। नितिन विजय कहते हैं “स्वाति को पता है कि क्या चुनना है और क्या छोड़ना है। सकारात्मक चीजों को साथ लेकर चलना और कही-सुनी को इग्नोर कर आगे बढ़ जाना उन्हें सबसे खास बनाती है। सच कहूं तो इनके सपोर्ट के बिना कुछ भी संभव नहीं।“
द इनसाइड स्टोरी दुआ करता है कि आप दोनों का रिश्ता यूं ही महकता रहे… चहकता रहे… दमकता रहे।
बाकलम-Vineet Singh@ Kota