बिरला ने खत्म की कोटा एयरपोर्ट के रास्ते की आखिरी बाधा

  • हाईटेंशन लाइन हटाने के लिए हुआ एयरपोर्ट अथॉरिटी और पॉवर ग्रिड के बीच एमओयू
  • 11 किमी में फैले बिजली के 34 टॉवर हटाने के साथ ही डीपीआर बनाने का काम भी हुआ शुरू

कोटा। लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने कोटा ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट के रास्ते की आखिरी बाधा भी खत्म कर दी। एयरपोर्ट निर्माण के आड़े आ रहे 11 किमी क्षेत्र में फैले हाईटेंशन बिजली के 34 टॉवर हटाने के लिए भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण (एएआई) एवं पॉवर ग्रिड कॉपरेशन के बीच समझौता हो गया है। इसके साथ ही एयरपोर्ट की डीपीआर बनाने का काम भी शुरू हो गया है।

कोटा ग्रीनफील्ड एयरपोर्ट के निर्माण की राह का आखिरी रोड़ा भी बुधवार को निकल गया। लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला के निर्देश पर यूआईटी के सचिव और पॉवर ग्रिड कॉर्पोरेशन के एसजीएम सुकुमार मिश्रा एवं डीजीएम पंकज पचौरी के बीच एमओयू साइन किया गया। कोटा ग्रीनफील्ड एयरपोर्ट के लिए चिन्हित भूमि का निरीक्षण करने शंभूपुरा पहुंचे लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने बताया कि इस समझोते के बाद अब पॉवर ग्रिड एयरपोर्ट निर्माण में आड़े आ रही 11.192 किमी की ट्रांसमिशन लाइन और 34 टॉवर हटाने का काम करेगा। पॉवर ग्रिड के एसजीएम सुकुमार मिश्रा ने लोकसभा अध्यक्ष को बताया कि एमओयू के बाद हाईटेंशन लाइन हटाने के लिए यूआईटी पॉवर ग्रिड को 40.15 करोड़ रुपए देगी। इसके अतरिक्त काम के दौरान यदि खर्च बढ़ता है तो उसका भुगतान भी यूआईटी करेगी। कार्यादेश जारी होने के बाद 18 महीने में लाइन और टॉवर शिफ्टिंग का काम पूरा कर लिया जाएगा। पॉवर ग्रिड के डीजीएम पंकज पचौरी ने लोकसभा अध्यक्ष को बताया कि पहले 15.064 किमी लंबी ट्रांसमिशन लाइन बिछाई जाएगी। इसके लिए 46 नए टॉवर खड़े किए जाएंगे। नई लाइन बिछने के बाद पॉवर सप्लाई टेस्टिंग की जाएगी। जिसके सफल होने के बाद पुरानी लाइन को डिस्मेंटल किया जाएगा।

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डीपीआर भी हो रही तैयार
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने बताया कि कोटा ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट के निर्माण में देरी न हो, इसलिए एयरपोर्ट की डीपीआर बनाने का काम भी साथ-साथ करवाया जा रहा है। निरीक्षण के दौरान दिल्ली से आए एएआई के एग्जक्यूटिव डायरेक्टर एन.वी. सुब्बारायडू ने लोकसभा अध्यक्ष को बताया कि डीपीआर का काम डेढ़ साल में पूरा कर लिया जाएगा। इलेक्ट्रिक ट्रांसमिशन लाइन शिफ्ट होने के साथ ही जैसे ही जमीन मिलेगी कंस्ट्रक्शन टेंडर जारी कर देंगे। 30 महीने में एयरपोर्ट के निर्माण का कार्य पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है। एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया के जीएम एयरोड्रम एंड लाइसेंसिंग एल.डी. मोहंती ने लोकसभा अध्यक्ष को बताया कि कंस्ट्रक्शन के बाद लाइसेंसिंग प्रोसेस पूरा कर लेंगे। इस बीच इन्वायरमेंट और फॉरेस्ट क्लीयरेंस भी हांसिल कर ली जाएगी।

पहले फेज में एक हजार यात्रियों की सुविधा
सुब्बारायडू ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को बताया कि कोटा ग्रीनफील्ड एयरपोर्ट के पहले फेज में 1006.89 एकड़ भूमि पर एयपोर्ट स्थापित किया जाएगा। 3200 बाई 45 मीटर के रनवे पर ए321 एयर बस जैसे बड़े विमान उतर सकेंगे। इसके साथ ही तीन ए320 एयरबस जैसे बड़े विमानों की पुशबैक पार्किंग भी हो सकेगी। 250 से ज्यादा वाहनों की पार्किंग की व्यवस्था भी रहेगी। पहले फेज में हर रोज एक हजार यात्रियों का आवागमन हो सकेगा। कोटा कलेक्टर रविंद्र गोस्वामी ने बताया कि एयपोर्ट की राह में आने वाली हर बाधा को कोटा जिला प्रशासन उच्च प्रथमिकता के आधार पर दूर करेगा, ताकि जल्द से जल्द कोटा को यह सुविधा मिल सके।

कांग्रेस पर साधा निशाना
कोटा ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट के लिए चिन्हित जमीन का निरीक्षण और निर्माण में आ रही बाधाओं को दूसर करने के लिए निरीक्षण को शंभुपुरा पहुंचे लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने कहा कि कोटा ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट का निर्माण जल्द से जल्द कराना उनकी सबसे बड़ी प्राथमिकता है। इस कार्य के लिए भार रहित भूमि उपलब्ध करवाना राज्य सरकार की जिम्मेदारी थी, लेकिन कांग्रेस की पूरवर्ती राजस्थान सरकार ने इस काम में रत्ती भर रुचि नहीं दिखाई। जमीन ट्रांसफर करने और बिजली की लाइनें शिफ्ट करने के लिए करीब 170 करोड़ रुपया राज्य सरकार को देना था, लेकिन कई बार आग्रह करने के बाद भी सिर्फ 21 करोड़ रुपए ही जमा कराए। प्रक्रिया, परम्परा और नियम भी है कि भार रहित भूमि दी जाए, लेकिन कांग्रेस नेतृत्व वाली सरकार ने अपनी यह जिम्मेदारी नहीं निभाई। यह काम समय से निपट जाता तो अब तक एयरपोर्ट से हवाई सेवा भी शुरू हो जाती।

दूर की सारी बाधाएं
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने कहा कि जैसे ही राजस्थान में भाजपा की सरकार बनी तो तत्काल लेंड डायवर्जन के लिए पैसा ट्रांसफर करवाया गया। इसके बाद दूसरी बड़ी बाधा बिजली की लाइनें हटाने की आई तो आरएपीपी रावतभाटा से आ रही 400-400 केवी की कोटा से जयपुर साउथ और कोटा से मेरता ब्यावर जाने वाली दो ट्रांसमिशन लाइनों को एयरपोर्ट की भूमि से हटाने के लिए यूआईटी और पॉवर ग्रिड के बीच एमओयू बुधवार को करवा दिया। कोटा आईटी हब बने और कोटा बूंदी के पर्यटन को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सफलता मिले इसके लिए कोटा एयरपोर्ट मील का पत्थर साबित होगा। उन्होंने कहा कि कोटा में हवाई सेवाओं का संचालन जल्द से जल्द कराना ही हमारा लक्ष्य है। फॉरेस्ट क्लीयरेंस से लेकर इन्वायरमेंटल क्लीयरेंस तक जो भी बाधाएं आएंगी उन्हें जल्द से जल्द दूर किया जाएगा।

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