राष्ट्रपति ने दिया साल 2047 का लक्ष्य, बोलींः ऐसा भारत हो, जिसमें गरीबी न हो

कभी भारत के मसले दूसरे सुलझाते थे, अब हमारी ओर देख रही दुनिया

नई दिल्ली। मिशन 2047… इस साल के मुहाने पर पहुंचने से पहले ऐसा भारत बनाएं जो अतीत के गौरव से जुड़ा हो और हर आधुनिक बदलावों से समाहित हो। ऐसा भारत हो, जिसमें गरीबी न हो। ऐसा भारत हो, जिसकी युवा शक्ति समाज के विकास के लिए आगे खड़े हों। भारत के भावी भविष्य की यह आधारशिला रखी राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने। संसद के बजट सत्र को संबोधित करते हुए राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने भारत की सरकार और सियासतदारों से भारत के सशक्तीकरण की अपील की। राष्ट्रपति ने कहा कि देशवासियों का आत्मविश्वास बढ़ा है और दुनिया का उसे देखने का नजरिया बदला है। उन्होंने कहा कि कभी दूसरे देश हमारे मसलों को सुलझाते थे, लेकिन आज हमारी ओर दुनिया उम्मीद से देख रही है।

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संसद के बजट सत्र को संबोधित करते हुए राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने मोदी सरकार की जमकर तारीफ की है। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार के 9 साल के कार्यकाल में देशवासियों का आत्मविश्वास बढ़ा है और दुनिया का उसे देखने का नजरिया बदला है। उन्होंने कहा कि कभी दूसरे देश हमारे मसलों को सुलझाते थे, लेकिन आज हमारी ओर दुनिया उम्मीद से देख रही है। लोकसभा और राज्यसभा के संयुक्त सत्र को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि हमें 2047 तक ऐसा भारत बनाना है, जो अतीत के गौरव से जुड़ा हो और हर आधुनिक बदलावों से समाहित हो। ऐसा भारत हो, जिसमें गरीबी न हो। ऐसा भारत हो, जिसकी युवा शक्ति समाज के विकास के लिए आगे खड़े हों।

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यह देश का अमृतकाल 
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहा कि यदि हम इस सच्चाई को जीवंत करेंगे तो जरूर प्रगति करेंगे। अमृतकाल का यह समय बेहद अहम है। पहली बार जब देश की जनता ने सेवा का अवसर दिया तो हमने सबका साथ, सबका विकास के मंत्र के साथ शुरुआत की थी। समय के साथ विकास विश्वास और सबका प्रयास भी जोड़ा गया। कुछ ही समय में मेरी सरकार के 9 साल पूरे हो जाएंगे। इस दौरान देश के लोगों ने कई सकारात्मक बदलाव देखे हैं। कभी भारत अपने आंतरिक मसलों के समाधान के लिए दूसरों पर निर्भर होता था, आज वह अन्य देशों के संकट हल कर रहा है। आज भारत में ऐसा डिजिटल नेटवर्क तैयार हो रहा है, जिससे विकसित देश भी प्रेरणा ले रहे हैं।

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आर्टिकल 370 हटाया और तीन तलाक भी कर दिया खत्म
मुर्मू ने कहा कि यह सरकार सभी के हित में काम करने वाली है। उन्होंने कहा कि भारत में आज प्रगति के साथ ही प्रकृति का भी संरक्षण करने वाली सरकार है। उन्होंने कहा कि मैं देशवासियों को धन्यवाद देती हूं कि उन्होंने लगातार दूसरी बार स्थिर सरकार को चुना है। इस सरकार के दौर में एलओसी से लेकर एलएसी तक प्रतिद्वंद्वी देशों को कड़ा जवाब दिया गया है। आर्टिकल 370 से लेकर तीन तलाक तक को रोकने का फैसला लिया गया है। दुनिया में जहां भी राजनीतिक अस्थिरता है, वह देश आज गंभीर संकट से घिरे हैं। लेकिन हमारी सरकार ने जो फैसले लिए हैं, उसे देखते हुए दुनिया के मुकाबले बहुत अच्छी स्थिति है।

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नई व्यवस्था में ईमानदार लोगों का हो रहा सम्मान
भ्रष्टाचार लोकतंत्र और सामाजिक न्याय का सबसे बड़ा दुश्मन है। बीते कुछ सालों में हमने तय किया है कि ईमानदार लोगों का व्यवस्था में सम्मान हो। भ्रष्टाचार मुक्त ईको सिस्टम बनाने के लिए बेनामी संपत्तियों पर शिकंजा कसा गया है। इसके अलावा भगोड़ों की संपत्ति कब्जाने के लिए भी कानून बनाया गया है। राष्ट्र निर्माण में योगदान देने वालों को विशेष सम्मान दिया जा रहा है। टैक्स फाइल करने की प्रक्रिया को सरल किया गया है। टैक्स रिटर्न के लिए पहले लंबा इंतजार करना पड़ता था, रिटर्न फाइल करने के कुछ दिन बाद ही रिफंड मिल जाता है।

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वन नेशन, वन राशन कार्ड से गरीबों को मिली राहत
उन्होंने कहा कि वन नेशन, वन राशन कार्ड के जरिए गरीबों को कहीं भी राशन मिल पा रहा है। डायरेक्ट बेनेफिट ट्रांसफर को क्रांतिकारी बताते हुए मुर्मू ने कहा कि इससे लोगों तक पूरी रकम सीधे तौर पर पहुंच रही है। गरीबों को इस तरीके से लाभ देकर ही भारत करोड़ों लोगों को कोरोना काल में गरीबी रेखा के नीचे जाने से बचा पाया है। आज मतदाता चाहता है कि शॉर्ट कट वाली योजनाओं से बचा जाए। गरीबी हटाओ अब केवल नारा नहीं रह गया है बल्कि उसके खात्मे के लिए प्रयास हो रहे हैं। गरीबी का एक बड़ा कारण बीमारी होती है। इस संकट से दूर करने के लिए आयुष्मान भारत जैसी योजना शुरू की गई है। इस स्कीम से देश के 25 करोड़ परिवारों को लाभ मिल रहा है।

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3 साल में 11 करोड़ परिवारों तक पहुंचा नल से जल
गरीबों के 80,000 करोड़ रुपये इससे बचे हैं। इसके अलावा गरीब तबके को मामूली कीमत पर जनौषधि केंद्रों में दवाएं मुहैया कराई जा रही हैं। उन्होंने कहा कि जल जीवन मिशन के तहत 3 सालों में ही 11 करोड़ परिवार जल आपूर्ति से जुड़े हैं। इससे पहले 70 सालों में महज 3 करोड़ तक इसकी पहुंच थी। सरकार ने टॉयलेट, बिजली, पानी और घर जैसी मूलभूत सुविधाओं की चिंता से गरीबों को मुक्त करने का प्रयास किया है। बीते कुछ सालों में मेरी सरकार के प्रयासों का ही नतीजा है कि शत-प्रतिशत आबादी तक मूल सुविधाएं पहुंची हैं। हमारी कोशिश है कि योजनाओं का लाभ सटीक लाभार्थी तक पहुंचे।

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